नई दिल्ली। आखिरकार कर्नाटक की कुमारस्वामी सरकार गिर गई। विश्वासमत के दौरान मंगलवार की शाम को वोटिंग में कुमारस्वामी सरकार के पक्ष में सिर्फ 99 वोट ही पड़े। जबकि विपक्ष में 105 वोट पड़े। कुमारस्वामी की सरकार 23 मई 2018 को बनी थी लेकिन यह 23 जुलाई 2019 को गिर गई।
कर्नाटक विधानसभा में सदस्यों की कुल संख्या 224 है। इनमें से सिर्फ 204 विधानसभा सदस्यों ने वोट किया। उनमें से 99 ने विश्वासमत के पक्ष में वोट किया जबकि 105 ने विपक्ष में वोट किया। जबकि 19 सदस्य वोटिंग के दौरान गैर-हाजिर रहे।
कुमारस्वामी बोले- सरकार का नहीं था कोई लालच
इससे पहले, विश्वासमत पर चर्चा के दौरान एचडी कुमारस्वामी ने कहा कि कहा कि उनके बारे में नकारात्मक रिपोर्ट्स से वे काफी आहत हुए और वे खुशी-खुशी पद छोड़ देते। सरकार के बारे में बोलते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्होंने एक ऐसी सरकार चलाई जिस पर लगातार गिरने का बादल मंडरा रहा था।
सदन में बहुमत साबित करने के दौरान बहस में बोलते हुए कर्नाटक के मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी ने कहा कि उन्होंने सरकार बचाने के लिए काफी जद्दोजहद की क्योंकि सदन के नए नेताओँ ने उनसे इसकी अपील की थी।
कर्नाटक विधानसौदा में बहुमत को लेकर चल रही बहस के दौरान मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी ने खुद को राज्य का एक्सीडेंटल सीएम बताया। काफी मुश्किल घड़ी में सरकार बचाने की अपनी कड़ी मेहनत को बताते हुए कुमारस्वामी ने कहा कि उस वक्त हमने सरकार चलाई जब यह लगातार कयासबाजी हो रही थी कि सरकार गिर रही है।
कुमारस्वामी ने कहा- ऐसा लगा जैसे एक्सीडेंटल सीएम हूं
उन्होंने कहा- पिछले करीब चौदह महीने से हमने उस स्थिति में सरकार चलाई है जब लगातार सरकार गिरने की कयासबाजी हो रही थी। मैं अथॉरिटीज को धन्यवाद करना चाहता हूं जिन्होंने निश्चित समय-सीमा के साथ काम किया, जो बीजेपी ने हमें दिया था। उन्होंने दिन-रात काम किया और अगर हमने इन महीनों के दौरान कुछ किया तो वे सब उनकी बदौलत किया है।
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