चंडीगढ़। स्वास्थ्य मंत्री डा. विजय सिंगला ने ठेके के बदले शुकराना (कमीशन) मांगा था। जिससे स्वास्थ्य मंत्री विजय सिंगला बर्खास्त हो गए। पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार भी कर लिया। तो मामला कुछ यूं है कि भगवंत मान ने उन्हें अपने घर बुलाया और उस ऑडियो क्लिप को चलवा दिया जिसमें वो शुकराना मांगने की बात कर रहे थे। चलिए जानते हैं क्या क्या बातें हुई भगवंत मान और विजय सिंगला के बीच…
सरकार के सूत्रों का कहन है कि स्वास्थ्य मंत्री विजय सिंगला निविदा के आवंटन के लिए बठिंडा निवासी से शुकराना की मांग कर रहे थे। मंत्री की पोल स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग के एक अधिकारी ने ही खोली। ये अधिकारी डॉ. सिंगला के इस तरह के व्यवहार को भली-भांती जानते थे। जानकारी के अनुसार, उन्होंने ही सीएम भगवंत मान से संपर्क किया और मंत्री की करतूतों को उनके सामने रखा। सीएम ने अधिकारी को अपनी सुरक्षा का आश्वासन दिया और सबूत इकट्ठा करने को कहा।
सूत्रों के अनुसार, अब अधिकारी जुट गए मंत्री सिंगला का पर्दाफाश करने। वक्त भी आ गया। बठिंडा निवासी एक शख्स ने निविदा के आवंटन के लिए मंत्री जी से संपर्क किया और सहयोग मांगा। इसकी एवज पर सिंगला ने शख्स से एक प्रतिशत शुकराना मांग लिया। अधिकारी ने दोनों की बातचीत का ऑडियो क्लिप सीएम मान को सौंपा।
सीएम मान ने सिंगला को अपने घर बुलाया
एक बार जब यह रिकॉर्डिंग सीएम तक पहुंच गई तो फिर सीएम ने अपने स्तर पर मंत्री के व्यवहार के बारे में विभागीय अधिकारियों से गहन पूछताछ की। अब सीएम मान ने मंत्री को अपने पास बुलाने का फैसला लिया। बताया जा रहा है कि मंत्री को सीएम ने अपने घर बुलाया और कथित तौर पर उनके सामने रिकॉर्डिंग चलाई गई।
रिकॉर्डिग सुनने के बाद मंत्री की हवाइयां उड़ गई। सीएम मान ने पूछा क्या यह उनकी आवाज थी? पता चला है कि उन्होंने इसे स्वीकार कर लिया है। सूत्रों का कहना है कि रिकॉर्डिंग में, मंत्री कथित तौर पर उस व्यक्ति से कह रहे थे कि उन्हें शुकराना देना चाहिए।
इसके बाद मुख्यमंत्री भगवंत मान ने विजय सिंगला को बर्खास्त कर दिया। बर्खास्तगी के बाद पंजाब पुलिस के एंटी करप्शन विंग ने सिंगला के खिलाफ केस दर्ज कर उन्हें गिरफ्तार कर लिया है। उनसे मोहाली के फेज 8 पुलिस थाने में सीनियर अफसरों ने विस्तार से पूछताछ की। सिंगला को मोहाली कोर्ट में पेश किया गया। कोर्ट ने उन्हें 27 मई तक 3 दिन के पुलिस रिमांड पर भेज दिया है।
FIR में दर्ज मंत्री सिंगला और उनके OSD की भ्रष्टाचार की कहानी
FIR के मुताबिक SE राजिंदर सिंह ने केस दर्ज करवाया है। उन्होंने बताया कि वह पंजाब हेल्थ सिस्टम कार्पोरेशन में फेज 8 में बतौर निगरान इंजीनियर तैनात हैं। एक महीने पहले उन्हें हेल्थ मिनिस्टर विजय सिंगला के OSD प्रदीप कुमार ने पंजाब भवन के कमरा नंबर 203 में बुलाया गया था। यहां पर मंत्री विजय सिंगला और OSD प्रदीप कुमार मौजूद थे।
मंत्री सिंगला ने मुझे कहा कि प्रदीप कुमार जो बात करेगा, उसे समझना कि मैं ही बात कर रहा हूं। मैं जल्दी में हूं और जा रहा हूं। इसके बाद प्रदीप कुमार ने मुझे कहा कि तुम्हारी तरफ से 41 करोड़ के कंस्ट्रक्शन वर्क की अलॉटमेंट जारी की गई है। इसके अलावा मार्च महीने में ठेकेदारों को 17 करोड़ की पेमेंट की गई है। इस तरह कुल 58 करोड़ रकम का 2% कमीशन 1.16 करोड़ बतौर रिश्वत दिया जाए।
रिश्वत नहीं दी तो करियर खराब कर देंगे
मैंने उन्हें कहा कि मैं यह काम नहीं कर सकता। मुझे बेशक मेरे विभाग में वापस भेज दिया जाए क्योंकि मैं डेपुटेशन पर हेल्थ विभाग में आया हूं। इसके बाद प्रदीप कुमार ने 8 मई, 10 मई, 12 मई, 13 मई और 23 मई को वॉट्सऐप पर कॉल की। जिसमें मुझे बार-बार बुलाकर रिश्वत की मांग की जाती रही। मुझे धमकी दी गई कि अगर रिश्वत नहीं दी तो मेरा करियर खराब कर देंगे। डिपार्टमेंट में मेरा नुकसान कर देंगे।
मैंने उन्हें गुजारिश की कि 30 नवंबर 2022 को मेरी रिटायरमेंट है। मेरा करियर खराब न करो। मुझे अपने विभाग में वापस भेज दो। जो अफसर रिश्वत दे सके, उसे डेपुटेशन पर ले आओ। आखिर में उन्होंने 20 मई को कहा कि हमें 10 लाख रुपए दे देना। आगे से जो भी काम अलॉट होगा या ठेकेदार को पेमेंट होगी तो उसमें से 1% रख लेना। मैंने इससे इनकार कर दिया। पुलिस ने मंत्री विजय सिंगला और OSD प्रदीप कुमार पर प्रिवेंशन ऑफ करप्शन एक्ट की धारा 7 और 8 के तहत केस दर्ज किया है।