डेली संवाद, चंडीगढ़। Punjab News: पंजाब के पूर्व मंत्री और वरिष्ठ कांग्रेसी नेता साधु सिंह धर्मसोत को विजिलेंस ब्यूरो ने सोमवार शाम को गिरफ्तार कर लिया। धर्मसोत की गिरफ्तारी इनकम से अधिक संपत्ति के मामले में हुई। उनके खिलाफ इस मामले की जांच पहले से चल रही थी।
पंजाब में 2017 से 2021 तक कैप्टन अमरिंदर सिंह की अगुवाई वाली कांग्रेस सरकार में मिनिस्टर रहे धर्मसोत को इससे पहले विजिलेंस ब्यूरो ने स्कॉलरशिप घोटाले में भी गिरफ्तार किया था। तब वह 89 दिनों बाद जमानत पर बाहर आए थे। सोमवार शाम को विजिलेंस ने धर्मसोत को फिर अरेस्ट कर लिया। उनके खिलाफ विजिलेंस थाने में FIR नम्बर 4 दर्ज की गई है।
6 करोड़ रुपए ज्यादा खर्च
विजिलेंस ब्यूरो ने 1 मार्च 2016 से 31 मार्च 2022 के बीच धर्मसोत की इनकम की जांच की। विजिलेंस अफसरों के अनुसार, इस टाइम पीरियड के दौरान धर्मसोत को उनकी ओर से घोषित इनकम सोर्स से दो करोड़ 37 लाख रुपए की आय हुई। इसी अवधि के दौरान उनकी ओर से खर्च की गई रकम 8 करोड़ 76 लाख रुपए। यानि धर्मसोत ने अपनी इनकम से तकरीबन 6 करोड़ रुपए ज्यादा खर्च किए।
विजिलेंस ब्यूरो के अधिकारी साधु सिंह धर्मसोत को 7 फरवरी को मोहाली कोर्ट में पेश करेंगे। फिलहाल उन्हें विजिलेंस दफ़्तर में रखकर पूछताछ की जा रही है। साधु सिंह धर्मसोत पर मिनिस्टर रहते खैर के पेड़ों की कटाई के लिए परमिट जारी करने, अफसरों के ट्रांसफर और NOC जारी करने में भी धांधली के आरोप हैं।
पंजाब में मार्च 2022 में आम आदमी पार्टी (AAP) की सरकार बनने के बाद साधु सिंह धर्मसोत को विजिलेंस ब्यूरो ने दूसरी बार गिरफ्तार किया है। जून 2022 में धर्मसोत को स्कॉलरशिप घोटाले में अरेस्ट किया गया था।
आरोप है कि धर्मसोत ने कैप्टन अमरिंदर सिंह के पंजाब का सीएम रहते अलग-अलग वर्गों के छात्रों को मिलने वाली स्कॉलरशिप में गड़बड़ी की। धर्मसोत पर यह आरोप कैप्टन सरकार के दौरान ही लगे थे लेकिन तत्कालीन सीएम अमरिंदर सिंह ने उन्हें क्लीन चिट दे दी थी।