डेली संवाद, कर्नाटक। Dog Temple: आपने आज तक यह तो सुना होगा कि बहुत से लोग कुत्तों को घरों में पालते है, लेकिन क्या आपने आज तक कुत्तों के मंदिर के बारे में सुना है यहां कुत्तों की पूजा की जाती है। जी हां, आपने बिल्कुल सही पढ़ा, हमारे देश में एक ऐसा राज्य भी है यहां कुत्तों की पूजा की जाती है।
आज हम आपको एक ऐसे मंदिर के बारे में बताने जा रहे है यहां मंदिर में कुत्तों की मूर्ति लगी है और उनकी पूजा की जाती है। यह मंदिर है कर्नाटक के रामनगर जिले के चन्नापटना में। इस मंदिर को डॉग टेम्पल कहा जाता है। कहा जाता है कि इस मंदिर का निर्माण वर्ष 2010 में एक व्यवसायी द्वारा किया गया था।
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कर्नाटक में चन्नापटना में चन्नापटना डॉग टेम्पल छोटे से गांव अग्रहारा वलागेरहल्ली में स्थित है। स्थानीय तौर पर इसे ‘नई देवस्थान’ के नाम से जाना जाता है, जहां स्थानीय कन्नड़ भाषा में ‘नाई’ का मतलब कुत्ता होता है। बताया जाता है कि इसे 2010 में रमेश नाम के एक व्यापारी ने बनवाया था।
यह एक दुर्लभ कुत्ते का मंदिर है जो कर्नाटक में कही नहीं पाया जाता है। इस गांव में यह भी मान्यता है कि अगर कोई भी आकर यहां प्रार्थना करता है तो उसकी सारी मनोकामना पूरी होती है। इसी बात को ध्यान में रखते हुए वर्ष में एक बार इस गांव में मेला आयोजित किया जाता है।
मेले में आने वाले लोग सबसे पहले यहां माथा टेकते है फिर उसके बाद वीरमिस्ट केम्पम्मा देवी के दर्शन करते है। बताया जाता है कि जिस जगह पर यह मंदिर बना है वहां पर स्थानीय स्तर पर केम्पम्मा देवी की पूजा होती है। ऐसे में यहां मंदिर बनाने के लिए एक व्यापारी ने रुपए दान किए थे।
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जिसके बाद मंदिर का निर्माण शुरू हुआ। जब मंदिर का निर्माण शुरू हुआ तो दो कुत्ते यहां पर आकर रहने लगे, जिन्हें गांव वालों ने पाला। वहीं जब मंदिर का निर्माण पूरा हुआ तो कुत्ते वहां से चले गए और फिर किसी को नहीं मिले।
रिपोर्ट के मुताबिक गांव के किसी व्यक्ति के सपने में आकर देवी ने कुत्तों को वहां आने के लिए कहा था लेकिन काफी ढूढ़ने के बाद भी वह कुत्ते किसी को नहीं मिले। ऐसे में फिर गांव के लोगों ने मंदिर में कुत्तों की मूर्ति बनाने का निर्माण किया।