डेली संवाद, नई दिल्ली। Farmers Protest: फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की कानूनी गारंटी देने समेत अन्य मांगों को लेकर किसान दिल्ली कूच पर हैं। कई किसानों ने अपने ट्रैक्टर-ट्रॉली के साथ फतेहगढ़ साहिब से सुबह करीब 10 बजे मार्च शुरू किया और वे शंभू सीमा के जरिए दिल्ली की ओर बढ़ रहे हैं।
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किसानों के प्रदर्शन के चलते हवाई टिकटों की कीमतों में उछाल आ गया है। पंजाब से दिल्ली जाने वाली फ्लाइटों की कीमत तीस हजार तक पहुंच चुकी है। कल तक यह कीमत तीन से 3500 रुपए थी।
आंदोलन के चलते महंगी हुई हवाई टिकटें
किसान आंदोलन के चलते दिल्ली के लिए जो टिकट 3000 से 3500 में मिल रही थी। वहीं अब 15 से 19 हजार रुपए की हो गई है। अमृतसर से इंडिगो, एयर इंडिया और विस्तार की ओर से 10 के करीब फ्लाइट का संचालन रोजाना किया जाता है। वहीं, आंदोलन के चलते बसों के पहिए थम चुके हैं।
हरियाणा, पंजाब, उत्तर प्रदेश और दूसरे राज्यों की चंडीगढ़ से दिल्ली के बीच चलने वाली अधिकतर बसें बंद हो चुकी हैं। सड़क मार्ग बंद होने के कारण एयरपोर्ट से आने जाने वाले लोग अब सीधा अमृतसर से दिल्ली और दिल्ली से अमृतसर फ्लाइट का इस्तेमाल कर रहे हैं। जिस कारण एयरलाइन कंपनियों ने भी टिकट के दाम कई गुना बढ़ा दिए हैं।
राज्य की सीमाओं पर सुरक्षा चाक-चौबंद
फसलों के लिए एमएसपी की कानूनी गारंटी देने समेत अन्य मांगों को लेकर दो केंद्रीय नेताओं के साथ बैठक बेनतीजा रहने के बाद पंजाब से किसानों ने मंगलवार को सुबह अपना ‘दिल्ली चलो’ मार्च शुरू किया।
किसानों की अंबाला-शंभू, खनौरी-जींद और डबवाली सीमाओं से दिल्ली की ओर कूच करने की योजना है। संगरूर में महल कलां से एक और समूह खनौरी सीमा के जरिए दिल्ली की ओर कूच कर रहा है।
हरियाणा में प्राधिकारियों ने कंक्रीट के अवरोधक, लोहे की कीलों और कंटीली तारों का इस्तेमाल कर अंबाला, जींद, फतेहाबाद, कुरुक्षेत्र और सिरसा में कई स्थानों पर पंजाब के साथ राज्य की सीमाओं पर सुरक्षा चाक-चौबंद कर दी है।
हरियाणा में धारा 144 लागू
पंजाब और हरियाणा की सीमाओं पर कई स्थानों पर पानी की बौछारें करने वाली गाड़ियों समेत दंगा रोधी वाहन भी तैनात किए गए हैं। हरियाणा सरकार ने भी 15 जिलों में दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 144 के तहत पाबंदियां लागू की हैं जिसके तहत पांच या उससे अधिक लोगों के एकत्रित होने और ट्रैक्टर-ट्रॉली के साथ किसी भी प्रकार के प्रदर्शन पर रोक है।
दिल्ली की सीमाओं पर बहुस्तरीय अवरोधक, कंक्रीट के अवरोधक, लोहे की कीलों और कंटेनर की दीवारें लगाकर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं। किसान संघों के झंडों वाली ट्रैक्टर-टॉली पर किसानों ने सूखा राशन, गद्दे और बर्तन समेत अन्य आवश्यक सामान रखा। ट्रैक्टर ट्रॉली के काफिले में एक खुदाई मशीन थी।
किसानों और सरकार के बीच बैठक रही बेनतीजा
सोमवार देर रात को केंद्र सरकार के साथ पांच घंटे से अधिक समय तक चली दूसरे चरण की बैठक के बाद पंधेर ने कहा, “हमें नहीं लगता कि सरकार हमारी किसी भी मांग पर गंभीर है।
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हमें नहीं लगता कि वे हमारी मांगों को पूरा करना चाहते हैं… हम कल सुबह 10 बजे दिल्ली की ओर मार्च करेंगे।” हालांकि, खाद्य एवं उपभोक्ता मामलों के मंत्री पीयूष गोयल के साथ बैठक में शामिल हुए केंद्रीय कृषि मंत्री अर्जुन मुंडा ने कहा कि अधिकांश मुद्दों पर सहमति बन गई है और सरकार ने प्रस्ताव रखा है कि शेष मुद्दों को एक समिति के गठन के माध्यम से सुलझाया जाए।
मुंडा ने बैठक के बाद कहा, “सरकार हमेशा चाहती है कि हम हर मुद्दे को बातचीत के जरिए सुलझा सकें… हम अब भी आशान्वित हैं और बातचीत का स्वागत करते हैं।”