डेली संवाद, चंडीगढ़। Credit Card: आजकल बहुत से लोग क्रेडिट कार्ड का इस्तेमाल करते हैं। इसके इस्तेमाल पर लोगों की निर्भरता दिन-ब-दिन बढ़ती जा रही है। भारतीय रिजर्व बैंक यानी आरबीआई (RBI) के मुताबिक फरवरी 2024 में क्रेडिट कार्ड से करीब 1.5 लाख करोड़ रुपये का भुगतान किया गया है।
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पिछले साल की तुलना में इसमें 26 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है। इस बीच आरबीआई क्रेडिट कार्ड पेमेंट को लेकर बड़ा फैसला ले सकता है। आजकल लोग ट्यूशन फीस, किराया भुगतान, सोसायटी रखरखाव और विक्रेता भुगतान के लिए भी क्रेडिट कार्ड का उपयोग करते हैं।
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इस तरह के भुगतान से रिजर्व बैंक को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। केंद्रीय बैंक का मानना है कि क्रेडिट कार्ड उपभोक्ता-से-व्यापारी भुगतान के लिए डिज़ाइन किए गए हैं, न कि व्यक्ति-से-व्यक्ति भुगतान के लिए। आरबीआई ने इस तरह के भुगतान पर आपत्ति जताई है और माना जा रहा है कि जल्द ही क्रेडिट कार्ड के जरिए किराया भुगतान, वेंडर भुगतान और ट्यूशन फीस भुगतान जैसे विकल्प बंद कर दिए जाएंगे।
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पिछले कुछ वर्षों में, कई फिनटेक बाजार में आए हैं, जो क्रेडिट कार्ड द्वारा किराया और सोसायटी रखरखाव शुल्क का भुगतान करने का विकल्प पेश कर रहे हैं। फिनटेक प्लेटफॉर्म जैसे नोब्रोकर, पेटीएम, सीआरईडी, हाउसिंग.कॉम, फ्रीचार्ज आदि।
इस प्रकार के भुगतान के लिए फिनटेक क्रेडिट कार्ड धारक का एक एस्क्रो खाता खोला जाता है। कार्ड से पैसा इस एस्क्रो खाते में जमा किया जाता है और फिर पैसा गृहस्वामी के बैंक खाते में स्थानांतरित कर दिया जाता है। हालाँकि, फिनटेक कंपनियां इस सुविधा के लिए 1 से 3 प्रतिशत शुल्क लेती हैं।