डेली संवाद, जालंधर। Jalandhar News: जालंधर के एसियन हार्ट केयर सैंटर (Asian Heart Care Centre) के डाक्टरों पर जालंधर के ग्रोवर कालोनी निवासी मानसी कपूर ने लापरवाही और ज्यादा पैसे लेने का आरोप लगाया। मानसी ने कहा कि उनके पति रितेश कपूर को आनन फानन में फोर्टिस अस्पताल में भर्ती करवाया गया, जहां उनकी जान बच पाई।
जानकारी के मुताबिक जालंधर (Jalandhar) के ग्रोवर कालोनी निवासी रितेश कपूर की अचानक तबियत बिगड़ गई। उनके घरवालों ने उन्हें तत्काल अरमान अस्पताल (Armaan Multispeciality Hospital) के साथ एसियन हार्ट केयर सैंटर में भर्ती करवाया। रितेश कपूर की पत्नी मानसी कपूर ने बताया कि अस्पताल के डाक्टरों ने पहले 80 हजार रुपए जमा करवा लिए फिर रितेश को भर्ती किया।

अस्पताल में हालत बिगड़ी
करीब एक घंटे तक पति रितेश की हालत ठीक नहीं हुई तो वे अपने पति को लेकर फोर्टिस अस्पताल लेकर गए। फोर्टिस अस्पताल के डाक्टरों ने स्टंट डालकर उनके पति को बचाया। मानसी ने आरोप लगाया कि 80 हजार रुपए लेने के बाद भी एसियन हार्ट केयर सैंटर के डाक्टरों ने ठीक से इलाज नहीं किया। जिससे उनके पति की हालत और बिगड़ गई।
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मानसी कपूर ने बताया कि 80 हजार रुपए लेने के बाद एसियन हार्ट केयर सैंटर में ठीक से इलाज नहीं हुआ। जिससे दूसरे अस्पताल ले जाकर इलाज करवाना पड़ा, जहां उनके पति को स्टंट डालकर बचाया गया। मानसी ने कहा कि इसकी शिकायत जालंधर सैंट्रल हलके के प्रभारी AAP नेता नितिन कोहली से की गई है।

टीचर को नहीं मिला इंसाफ
आपको बता दें कि इससे पहले भी अस्पताल विवादों में रहा है। महिला टीचर मामूली आपरेशन करवाने आई थी, जिसकी इलाज के दौरान मौत हो गई। अब महिला टीचर के परिवार वाले इंसाफ के लिए दर दर भटक रहे हैं। परिवार वालों ने मांग की है कि अस्पताल के डाक्टरों पर सख्त कार्रवाई की जाए।

उधर, अरमान अस्पताल प्रबंधन ने बताया कि एसियन हार्ट केयर सैंटर से उनका कोई लेना देना नहीं है। एसियन हार्ट केयर सैंटर अलग है। जिसके डाक्टर अलग हैं।
रितेश को हमारे डाक्टरों ने बचाया
एसियन हार्ट केयर सैंटर के डाक्टर दलबीर सिंह ने बताया कि रितेश कपूर को उनके अस्पताल में भर्ती करवाया गया। जिस समय रितेश कपूर उनके अस्पताल में आए, उस वक्त वे बेहोश थे। उनकी पल्स भी गिर गई थी। किसी तरह से हमारे डाक्टरों ने उन्हें बचाया।
उन्हें हार्ट अटैक आया था। हमारे डाक्टरों ने बचाया। 51,000 रुपए का इंजेक्शन लगाया गया और 20,000 रुपए की दवाई व अन्य चार्ज लिया गया। कुल 71,000 रुपए जमा करवाए गए। उनके घर वाले उन्हें यहां से लेकर चले गए।






