Punjab: नार्को-आतंकवाद मॉड्यूल से जुड़ा सेना का भगोड़ा और उसका साथी हैंड ग्रेनेड, हेरोइन सहित गिरफ्तार

Daily Samvad
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Army deserter linked to a narco-terrorism module brusted
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डेली संवाद, चंडीगढ़। Punjab: मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के निर्देशों के अनुसार पंजाब को सुरक्षित राज्य बनाने के लिए जारी मुहिम के दौरान नार्को-आतंकवाद गठजोड़ के खिलाफ बड़ी सफलता हासिल करते हुए स्टेट स्पेशल ऑपरेशन सेल (SSOC) एसएएस नगर ने सेना के भगोड़े, जिसकी पहचान राजबीर सिंह उर्फ फौजी के रूप में हुई है, को बिहार के मोतीहारी में भारत-नेपाल सीमा के पास कस्बा रक्सौल से 500 ग्राम हेरोइन और एक हैंड ग्रेनेड सहित उस समय गिरफ्तार कर लिया जब वह नेपाल के रास्ते देश छोड़कर भागने की फिराक में था।

पंजाब DGP ने जानकारी दी

यह जानकारी पुलिस डायरेक्टर जनरल (डीजीपी) पंजाब (Punjab) गौरव यादव (DGP Gaurav Yadav) ने आज यहां दी। यह कार्रवाई फाजिलका की काशी राम कॉलोनी के रहने वाले उसके साथी चिराग, जिससे 407 ग्राम हेरोइन और एक 9 एमएम पिस्तौल बरामद की गई थी, की गिरफ्तारी के बाद सामने आई है।

Director General of Police (DGP) Punjab Gaurav Yadav
Director General of Police (DGP) Punjab Gaurav Yadav

जिक्रयोग्य है कि उक्त चिराग नाम का व्यक्ति आरोपी राजबीर के लिए कोरियर मैन के रूप में काम कर रहा था और नशीले पदार्थों की तस्करी की कमाई को उस तक वापस पहुंचाने में अहम भूमिका निभाता था। इस तरह चिराग नशीले पदार्थों की सप्लाई चेन में एक महत्वपूर्ण कड़ी के रूप में काम कर रहा था।

जासूसी मामले में केस दर्ज

डीजीपी गौरव यादव ने कहा कि गिरफ्तार आरोपी राजबीर की प्रारंभिक जांच से पता लगा है कि वह 2011 में भारतीय सेना में भर्ती हुआ था और फरवरी 2025 में उस समय सेना से भगोड़ा हो गया था, जब उस और उसके साथियों पर इस साल की शुरुआत में अमृतसर ग्रामीण के पुलिस स्टेशन घरिंडा में आधिकारिक भेद अधिनियम की धारा 3, 4 और 5 के तहत एक जासूसी मामले में केस दर्ज किया गया था।

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डीजीपी ने बताया कि जांच से हरियाणा के सिरसा में एक महिला पुलिस थाने पर ग्रेनेड हमले की साजिश में दोनों गिरफ्तार आरोपियों की भूमिका होने का भी पता लगा है। उन्होंने आगे बताया कि आरोपी राजबीर और चिराग ने अमृतसर ग्रामीण के गुरजंट सिंह को हैंड ग्रेनेड पहुंचाए थे, जिसे बाद में हरियाणा पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया था।

गुप्त जानकारी देनी शुरू कर दी

बताने योग्य है कि उसे चिराग के माध्यम से आगे वित्तीय सहायता भी पहुंचाई गई थी। गुरजंट को दिए गए फंड आगे हमलावरों को भेजे गए थे, जिनका प्रयोग उक्त ग्रेनेड हमले को अंजाम देने के लिए किया गए था। डीजीपी ने कहा कि इस मामले में आगे-पीछे संबंधों का पता लगाने के लिए आगे की जांच जारी है।

अधिक विवरण साझा करते हुए एआईजी एसएसओसी एसएएस नगर डी सुदरविज़ी ने कहा कि जांच से यह भी पता लगा है कि 2022 में, गिरफ्तार आरोपी राजबीर सोशल मीडिया के माध्यम से कुछ पाकिस्तान-आधारित संस्थाओं के संपर्क में आया था और उसने हेरोइन की खेप तक पहुंच के बदले उन्हें आगे सैन्य की संवेदनशील और गुप्त जानकारी देनी शुरू कर दी थी और अन्य सेना कर्मियों को भी इन हैंडलरों से परिचय करवाया।

केस दर्ज होने के बाद आरोपी फरार

केस दर्ज होने के बाद राजबीर फरार हो गया और नेपाल जाकर छिप गया, जिसके बाद वह अक्सर पंजाब और नेपाल के बीच आता- जाता रहा और अपनी नशीले पदार्थों की तस्करी का काम जारी रखा। एआईजी ने बताया कि राजबीर के अनुसार उसके पाकिस्तान-आधारित हैंडलर उसे नेपाल के रास्ते भारत से यूरोप भागने में सहायता कर रहे थे।

 

उन्होंने बताया कि कार्रवाई के तहत आरोपी का ट्रांजिट रिमांड प्राप्त करने के बाद उसे पंजाब लाया गया। इस संबंध में एनडीपीएस एक्ट की धारा 21, असला एक्ट की धारा 25(1) और भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) 61(2) के तहत पुलिस थाना एसएसओसी एसएएस नगर में एफआईआर नंबर 14 दिनांक 10.12.2025 दर्ज है।















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मानसी जायसवाल, डेली संवाद ऑनलाइन में डिजिटल कंटेंट राइटर हैं। वे लोकल खबरों पर दमदार पकड़ रखते हैं। वह 5 सालों से अधिक समय से Daily Samvad (Digital) में पत्रकार के रूप में कार्यरत हैं। उन्होंने पत्रकारिता करियर की शुरुआत डेली संवाद से की। उन्होंने पंजाब के जालंधर के खालसा कालेज से एमए की डिग्री हासिल की है।
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