Dengue vs Malaria: क्या किसी व्यक्ति को एक साथ हो सकता है डेंगू और मलेरिया?

Daily Samvad
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डेली संवाद, नई दिल्ली। Dengue vs Malaria: बरसात आते ही बीमारियों और संक्रमणों का दौर शुरू हो जाता है। बीते दिनों जहां आई फ्लू की वजह से देशभर में लोग परेशान थे, तो वहीं अब डेंगू ने लोगों का जीना मुश्किल कर दिया है।

देश के कई हिस्सों से लगातार डेंगू के मामले सामने आ रहे हैं। इतना ही नहीं भारत के अलावा पड़ोसी देश बांग्लादेश में भी डेंगू ने आतंक मचा रखा है। ऐसे में जरूरी है कि इस गंभीर बीमारी से बचा जाए और खुद को सुरक्षित रखा जाए।

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डेंगू के अलावा इस मौसम में मलेरिया का खतरा भी काफी बढ़ जाता है। डेंगू के अलावा देश के कुछ इलाकों से मलेरिया के मामले भी सामने आ रहे हैं। डेंगू और मलेरिया दोनोंं ही मच्छरों से होने वाली गंभीर बीमारियां, जो मच्छरों के काटने से फैलती हैं।

हालांकि, इन दोनों ही बीमारियों को लेकर लोगों के मन में कई तरह के सवाल भी रहते हैं। ऐसे में मलेरिया और डेंगू के बारे में कुछ जरूरी बातें जानने के लिए हमने विशेषज्ञ से बात की।

मलेरिया और डेंगू में समानता

मलेरिया और डेंगू दोनों में ही कई सारी समानताएं हैं। यह दोनों की बीमारी आमतौर पर बरसात के मौसम में फैलती है और दोनों की मच्छरों के काटने फैलती है। इन दोनों ही बीमारियों में पीड़ित को तेज बुखार होता है, जिससे शरीर के तापमान में वृद्धि होती है।

इसकी वजह से व्यक्ति को थकान और कमजोरी भी महसूस होती है। हालांकि, समानताओं के अलावा भी दोनों बीमारियों में कई अंतर भी हैं, जिसके बारे में गुरुग्राम के सीके बिड़ला हॉस्पिटल में इंटरनल मेडिसिन के प्रमुख सलाहकार डॉ. तुषार तायल से बात की।

डेंगू और मलेरिया में क्या अंतर है?

मलेरिया

डॉक्टर तुषार बताते हैं कि मलेरिया प्लास्मोडियम नामक पैरासाइट के कारण होता है, जो मादा एनोफिलीज मच्छर के काटने से फैलता है। प्लास्मोडियम के दो सबसे सामान्य प्रकार विवैक्स और फाल्सीपेरम हैं, जो इंसानों को संक्रमित करते हैं। इनमें से फाल्सीपेरम ज्यादा घातक है और सेरेब्रल मलेरिया का कारण बनता है।

मलेरिया के लक्षण

बात करें मलेरिया के लक्षणों की, तो इस बीमारी में मच्छर के काटने के 10-15 दिन बाद लक्षण दिखाई देने शुरू होते हैं, जो निम्न प्रकार है-

  • ठंड और अत्यधिक कंपकंपी के साथ बुखार आना
  • सिरदर्द, बदन दर्द और जोड़ों का दर्द
  • पीलिया और कम हीमोग्लोबिन
  • लो ब्लड शुगर लेवल
  • यूरिन से खून आना
  • दौरे पड़ना और कोमा (खासकर फाल्सीपेरम मलेरिया में)

सही समय पर इलाज न मिलने पर मलेरिया जीवन के लिए खतरा हो सकता है और रेस्पिरेटरी और किडनी की विफलता, असमान्य ब्लीडिंग और यहां तक ​​कि मौत का कारण बन सकता है।

डेंगू

डेंगू भी मच्छरों से फैलने वाली एक बीमारी है। हालांकि, मलेरिया से अलग यह बीमारी एडीज प्रजाति के मच्छर के काटने से लोगों में फैलती है। यह एक तरह का संक्रमण है, जो डेंगू वायरस (DENV) के कारण होता है, जो हड्डियों तक जाकर उन्हें कमजोर बना देता है। यही वजह है कि इसे हड्डी तोड़ बुखार भी कहते हैं।

डेंगू के लक्षण

डेंगू के लक्षण आम तौर पर मच्छर के काटने के 1 सप्ताह बाद शुरू होते हैं। इसके लक्षण कई बार काफी हल्के होते हैं, जो अपने आप ही ठीक हो जाते हैं। डेंगू के कुछ प्रमुख लक्षण निम्न हैं-

  • तेज बुखार
  • सिरदर्द
  • आंखों के पीछे दर्द
  • मतली
  • जोड़ों का दर्द
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गंभीर मामलों में डेंगू के लक्षण अलग हो सकते हैं और कई बार चेतावनी का संकेत भी होते हैं। इसके गंभीर लक्षणों में निम्न शामिल हैं-

  • ब्लीडिंग
  • बीपी गिर जाना
  • दाने विकसित होना
  • फेफड़ों और पेट में तरल जमा होना

क्या एक साथ हो सकता है डेंगू और मलेरिया?

एक ही व्यक्ति को एक साथ डेंगू और मलेरिया होने की संभावना काफी दुर्लभ है, क्योंकि दोनों ही बीमारियां मच्छरों की विभिन्न प्रजातियों के कारण होती हैं। डेंगू एडीज एजिप्टी मच्छर के कारण होता है, जबकि मलेरिया एनोफिलिस मच्छर के कारण होता है। ऐसे में दो अलग-अलग प्रजातियों के मच्छरों द्वारा एक ही व्यक्ति को काटने की संभावना बेहद दुर्लभ है, लेकिन असंभव नहीं है।

डेंगू और मलेरिया कौन ज्यादा घातक?

मच्छरों की वजह से होने वाली यह दोनों ही बीमारी जानलेवा साबित हो सकती है। चाहे डेंगू हो या फिर मलेरिया, दोनों की बीमारियों का अगर समय रहते इलाज न किया जाए, तो इससे आपकी मौत तक हो सकती है। ऐसे में मच्छरों से बचने के लिए सभी जरूरी सावधानियां जरूर बरतें।

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