डेली संवाद, ओटावा। Canada News: कनाडा (Canada) में खालिस्तानियों (Khalistanis) की धमकी से भारतीय हिन्दू (Indian Hindu) डर गए हैं। यह उस समय हो रहा है जब, प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो (Justin Trudeau) ने भारत (India) के खिलाफ बेबुनियाद आरोप लगाए। ट्रूडो (Justin Trudeau) ने हालांकि अपने झूठ का कबूलनामा कर लिया है, लेकिन दोनों देशों के बीच रिश्तों बेहद ही निचले स्तर पर पहुंच गए हैं।
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भारत (India) ने कनाडा (Canada) में अपने राजनियकों पर खतरा बताते हुए उन्हें वापस बुला लिया है और कनाडा (Canada) के छह राजनयिकों को देश छोड़ने को कहा है। इस बीच कनाडा (Canada) के सांसद ने ट्रूडो (Justin Trudeau) के देश की असलियत बताई है। कनाडाई सासंद (Canadian MP) चंद्रा आर्या (Chandra Arya) ने कहा है कि कनाडा (Canada) में खालिस्तानी अलगाववादी गतिविधियों की चलते हिंदू समुदाय डरा हुआ है।
हिंदुओं की अनदेखी
एक वीडियो संदेश में चंद्रा आर्या ने कहा, ‘मैंने हाल ही में हुए घटनाक्रमों के बारे में कनाडा भर के हिंदुओं की चिंताओं को सुना है। एक हिंदू सांसद के रूप में मैंने भी इन चिंताओं का प्रत्यक्ष अनुभव किया है।’ चंद्रा आर्या ने बताया कि पिछले सप्ताह ही एक हिंदू कार्यक्रम में भाग लेने के लिए उन्हें रॉयल कनैडियन माउंटेड पुलिस (RCMP) की सुरक्षा में जाना पड़ा था, क्योंकि खालिस्तानी प्रदर्शनकारियों के एक समूह ने उनके खिलाफ उग्र प्रदर्शन किया था।
आर्या ने कहा कि कनाडा में हमने खालिस्तानी हिंसक उग्रवाद की गंभीर समस्या को पहचाना है। उन्होंने आगे कहा, ‘मैंने अभी तक किसी भी राजनेता या सरकारी अधिकारी को हिंदू-कनाडाई लोगों को आश्वस्त करते हुए नहीं सुना है, जिनमें से कई हाल की घटनाओं के मद्देनजर अपनी सुरक्षा के लिए चिंतित और डरे हुए हैं।’
खालिस्तानियों को संरक्षण
कनाडा की संसद के सदस्य चंद्रा आर्या ने द ग्लोब एंड मेल में प्रकाशित एक लेख का हवाला दिया, जिसमें कनाडाई राजनेताओं के ऐसी रैलियों में भाग लेने की गतिविधियों का जिक्र किया गया था, जिसमें आतंकवादियों का महिमामंडन किया जाता है और आतंकवादी हमलों की तारीफ की जाती है।
कनाडाई अखबार ने लिखा था, ‘इस देश के और सभी देशों के राजनीतिक नेताओं को दूसरे देशों में अलगाववादी आंदोलनों को प्रोत्साहित नहीं करना चाहिए। खासतौर पर जो हिंसा का समर्थन करते हैं या उसमें शामिल होते हैं।’
खतरे को लेकर किया आगाह
चंद्रा आर्य ने कहा, ‘उग्रवाद और आतंकवाद राष्ट्रीय सीमाओं को नहीं पहचानते। कनाडा के खालिस्तानी हिंसक चरमपंथ पर हम उम्मीद करते हैं कि हमारी संघीय सरकार और उसकी एजेंसियां हमारे नागरिकों की सुरक्षा के लिए अन्य प्रभावित देशों के साथ सहयोग करेंगी।’ उन्होंने कनाडा में खालिस्तानी उग्रवाद के खतरों के खत्म करने के महत्व पर जोर दिया और इसे प्रभावी ढंग से संबोधित करने के प्रयासों को शुरू करने को कहा।