डेली संवाद, लुधियाना
केंद्र सरकार द्वारा पास किए गए कृषि कानून के खिलाफ किसान यूनियनों में आक्रोश बढ़ता जा रहा है। वीरवार को विभिन्न किसान यूनियन ने जालंधर-लुधियाना नेशनल हाईवे पर लाडोवाल टोल प्लाजा पर धरने के दौरान तोड़फोड़ शुरू कर दिया। किसान नेताओं ने टोल प्लाजा को घेरकर केंद्र सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। इस दौरान चक्का जाम होने की स्थिति को देखते हुए टोल प्लाजा की तरफ से वाहन चालकों को बिना टोल लिए निकाला गया।
कृषि बिल के खिलाफ किसानों का धरना प्रदर्शन आज उग्र हो गया। इस दौरान किसानों ने टोल प्लाजा पर लगे बैरियर को उखाड़ फेंका। कुछ किसानों ने टोल प्लाज के काउंटर को तोड़ दिया और मुलाजिम को भी पीट दिया। इस दौरान टोल प्लाजा की सुरक्षा में लगे जवानों ने उन्हें किसी तरह शांत किया।
किसान नेताओं ने बताया कि केंद्र सरकार ने किसानों के खिलाफ काला कानून पास कर दिया है। इस कानून के लागू होने पर किसानों को उनकी फसल का न्यूनतम समर्थन मूल्य नहीं मिलेगा। ऐसे में किसान उच्च घरानों के हाथों खेलने के लिए मजबूर होंगे। केंद्र सरकार ने बड़े घरानों को फायदा देने के चक्कर में किसानों का गला घोटने का प्रयास किया है। जिसे वह किसी कीमत पर सहन नहीं करेंगे।
प्रदर्शन कर रहे किसानों ने कहा कि जब तक केंद्र सरकार इस काले कानून को वापस नहीं लेगी, उस समय तक किसान जत्थेबंदियां इसी तरह सरकार के खिलाफ अपना प्रदर्शन जारी रखेंगी। आने वाले दिनों में वह संघर्ष और तेज करेंगे। ताकी जल्द से जल्द इस कानून को खत्म करवाया जा सके। किसान नेताओं ने आम किसानों को भी संघर्ष में शामिल होने के लिए कहा, ताकी पंजाब की किसानी को बचाया जा सके।







