डेली संवाद, जालंधर। Jalandhar News: भाजपा पंजाब के ओबीसी मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष राजिन्द्र बिट्टा ने पंजाब की भगवंत मान सरकार द्वारा राज्य में ओबीसी समाज से किए जा रहे भेदभाव तथा दिए जा रहे कम आरक्षण को लेकर जालंधर में आयोजित पत्रकारवार्ता में कहा कि केंद्र की मोदी सरकार ओबीसी समाज को 27 प्रतिशत आरक्षण दे रही है जबकि पंजाब सरकार द्वारा महज 12 प्रतिशत आरक्षण दिया जा रहा है।
बिट्टा ने कहा कि 1993 में राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग की स्थापना कर दी गई थी, लेकिन उसे सवैधानिक दर्जा नहीं दिया गया, जिसे मोदी सरकार ने 2018 में संवैधानिक दर्जा दिया और इस आयोग की गरिमा बढ़ा कर पिछड़े समाज के लोगों का सर गर्व से ऊँचा किया। राजिंदर बिट्टा ने कहा कि देश के पिछड़े वर्ग को न्याय देने के लिए प्रधानमंत्री मोदी तथा उनकी सरकार ने जो निर्णय लिये तथा न्याय दिया है, उसके पूर्व सत्ता पक्ष के लोगों ने इस पर कभी विचार भी नहीं किया था।
ये भी पढ़ें: जालंधर के प्रमुख उद्योगपति पर युवती ने लगाए शारीरिक शोषण का आरोप
देश के पिछड़े वर्गों में योग्यता, कुशलता, कारीगीरी, मेहनती लोगों की कोई कमी नहीं है। इस वर्ग के अधिकांश जातियां कृषि क्षेत्र से जुड़ी हुई हैं। जिसमें मजदूर भी हैं और कुशल कारीगर भी हैं, अपने व्यवसाय से समाज सेवा के साथ मेहनत से समाज की जरूरतें पूरी करने वाला यह वर्ग जिन्हें आर्थिक और शिक्षा के क्षेत्र में विकास से वंचित रखा गया था, उन्हें प्रधानमंत्री मोदी ने न्याय दिलाया, जिसमें 50 प्रतिशत से अधिक पिछड़ा वर्ग है।
भारत रत्न बाबा साहब डा. भीमराव अम्बेडकर के विचार एवं संविधान के अनुसार सामाजिक विषमता दूर करने हेतु माननीय प्रधानमन्त्री नरेन्द्र मोदी के मूल मंत्र “सबका साथ, सबका विकास और सबका विश्वास” सचमुच में साकार हो रहा है। मोदी सरकार के नौ साल के दौरान ओबीसी को सबल और सशक्त बनने का मौका मिला है।
राजिंदर बिट्टा ने कहा कि केंद्र सरकार आल इंडिया कोटा स्कीम के अंतर्गत एमबीबीएस व एमडी के दाखिले में 2007 से दिए जा रहे 22.7 प्रतिशत कोटे को बढ़ाकर 27 प्रतिशत कर दिया गया और आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के के लिए 10 प्रतिशत आरक्षण प्रदान किया गया। केन्द्रीय विद्यालयों, नवोदय विद्यालयों व् सैनिक स्कूलों के दाखिले में भी ओबीसी वर्ग के बच्चों को 27 प्रतिशत आरक्षण कर दिया गया, जिसका फ़ायदा आज ओबीसी समाज के बच्चे उठा रहे हैं।
ये भी पढ़ें: वीडियो कॉल पर गर्लफ्रैंड के कपड़े उतरवाए
इसके चलते राष्ट्रीय महत्व के संस्थानों में ओबीसी वर्ग के बच्चों के नामांकन में 71 प्रतिशत की उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग वित्त निगम द्वारा ओबीसी समाज को वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए 194810 लाभार्थियों के लिए 678.05 करोड़ रूपये की वार्षिक कार्य योजना को मंजूरी दी गई है। बैंकों द्वारा विभिन्न योजनाओं के अंतर्गत ओबीसी समाज को भरपूर लाभ दिया जा रहा है।
पैट्रोल पंप व गैस एजंसी के आबंटन में भी ओबीसी समाज को 27 प्रतिशत आरक्षण दिया गया है। आईआईटी में ओबीसी श्रेणी के गरीब छात्रों की ट्यूशन फीस माफ़ कर दी गई है। राजिंदर बिट्टा ने कहा कि पंजाब में ओबीसी आरक्षण को लेकर राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग के पंजाब राज्य के भ्रमण के क्रम में समीक्षा बैठक के दौरान पंजाब सरकार के अतिरिक्त मुख्य सचिव एवं संबंधित विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों ने बताया कि वर्तमान में कुल आरक्षण का प्रतिशत 37 है।