डेली संवाद, जालंधर। Jalandhar News: जालंधर (Jalandhar) में AAP के वरिष्ठ नेता राजकुमार मदान ने कांग्रेस छोड़ AAP में आए वार्ड-64 के प्रत्याशी जगदीश राजा को जिताने के लिए पूरी ताकत झोंक दी थी, फिर भी वे जीत हासिल नहीं कर सके। आखिर कहां चूक हुई, इसे लेकर विश्लेषण में कई बातें उभर कर सामने आई है।
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ये राजकुमार मदान की ही मेहनत थी कि वार्ड-64 के प्रत्याशी जगदीश राजा को 1319 वोट हासिल हुए। टिकट न मिलने के बाद भी राजकुमार मदान ने जगदीश राजा को जिताने के लिए कंधे से कंधा मिलाकर काम किया।
जगदीश राजा को 1319 वोट
पूर्व मेयर जगदीश राजा की हार भले ही पूरे शहर में चर्चा का विषय बन गया है, लेकिन जगदीश राजा को 1319 वोट कैसे मिले, इस पर चर्चा होनी जरूरी है। जिस तरह से चुनाव के दौरान अचानक जगदीश राजा ने कांग्रेस छोड़ AAP ज्वाइन किया था, उससे राजा का ग्राफ नीचे आया। इसे मेनटेन करने के लिए राजा के साथ राज कुमार मदान ने भी पूरी ताकत लगाई।
इसके बावजूद आम आदमी पार्टी और टिकट के प्रबल दावेदार रहे राजकुमार मदान ने पूरी शिद्दत के साथ राजा का साथ दिया। चर्चा यह है कि जगदीश राजा अगर एक ही वार्ड पर फोकस करते हैं तो उनकी जीत निश्चित थी। चूंकि राजा ने अपनी पत्नी अनीता राजा को भी दूसरे वार्ड से चुनाव लड़वा दिया, जिससे उनकी टीम दो हिस्सों में बंट गई।
एडी से चोटी तक पूरी ताकत झोंक दी
हालांकि वार्ड-64 से आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेता राज कुमार मदान ने एडी से चोटी तक पूरी ताकत झोंक दी। जिससे जगदीश राजा को 1319 वोट हासिल हुए। जानकार बताते हैं कि अगर राजकुमार मदान अपनी टीम के साथ राजा का साथ न देते तो शायद राजा को इतने भी वोट नहीं हासिल होते।